सिर्फ हैप्पी होली लिखने अथवा बोलने से हैप्पी नहीं होती हैप्पी करने के लिए बरतें ये सावधानी

 


सिर्फ हैप्पी होली लिखने अथवा बोलने से हैप्पी नहीं होती हैप्पी करने के लिए बरतें ये सावधानी


           जितेन्द्र शर्मा ने बताया कि होली में सिंथेटिक और केमिकल वालों रंगों का इस्तेमाल करने की बजाय हर्बल रंगों जैसे गुलाल, अबीर आदि का इस्तेमाल करना चाहिए। हर्बल  रंग त्वचा को नुकसान नहीं पहुंचाते हैं और एक बार पानी से धोने पर साफ हो जाते हैं। वहीं सिंथेटिक और केमिकल वाले रंग त्वचा बेजान और रुखे बना देते हैं। होली के रंगों की वजह से पिंपल्स, खुजली, जलन आदि की समस्या भी हो जाती है। कई बार रंग उतारते समय स्किन छिल जाती है। यदि किसी के त्वचा में रंगों रिऐक्शन दिखने लगे, तो बिना देरी किए स्किन स्पेशलिस्ट को दिखाना चाहिए। इसके अलावा एंटी एलर्जिक गोली और डेजोवेन क्रीम का भी इस्तेमाल कर सकते हैं।


होली खेलने से 20 मिनट पहले त्वचा पर 20 एसपीएफ सन्सक्रीम लगानी चाहिए। यदि आपकी त्वचा पर फोड़े, फुन्सियां आदि हैं तो 20 एसपीएफ से ज्यादा की सन्सक्रीम का उपयोग कर सकते हैं। इसके अलावा मॉश्चराइजर का भी इस्तेमाल करें।


होली खेलने से पहले बालों में हेयर सीरम या कंडिशनर लगाना चाहिए। इससे बालों में गुलाल की वजह से होनी वाले सूखेपन से सुरक्षा मिलेगी। हेयर क्रीम के इस्तेमाल से भी बालों को नुकसान से बचाया जा सकता है। नारियल तेल भी लगाया जा सकता है।


यदि किसी को रंग खेलने के दौरान खुजली हो या जलन महसूस हो, तो उस स्थानों को तुरंत साफ पानी से धोना चाहिए। इसके बाद बर्फ से सिकाई करनी चाहिए। यदि एलर्जी हो, तो ऐंटि एलर्जिक गोली जैसे एविल ले सकते हैं।


इनसे करें बचाव:-


रंग खेलने के बाद सूरज की रोशनी में न खड़ें हो। यह रंग को पक्का करती है।


रंग लगने के तुरंत बाद चेहरे को पानी से साफ कर लें।


रंग खेलने के बाद एक-दो बार हल्के हाथों से चेहरे को साफ करें। रंग को छुटाने की कोशिश न करें। इससे स्किन को नुकसान पहुंच सकता है।